BCCI की निगरानी में सेंध, एक पते पर दर्जनों फर्जी खिलाड़ी

पुदुचेरी: भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) जहां देश में क्रिकेट को बढ़ावा देने का दावा करता है, वहीं पुदुचेरी में उसके नज़दीकी सिस्टम में फर्जीवाड़े का मामला सामने आया है। यहाँ निजी क्रिकेट एकेडमी के कोच बाहरी राज्यों के खिलाड़ियों को नकली पते और फर्जी एलिजिबिलिटी सर्टिफिकेट के सहारे ‘लोकल’ खिलाड़ी बनाकर टीमों में शामिल कर रहे हैं।
जांच में सामने आया है कि इस पूरे काम के लिए पैकेज 1.2 लाख रुपये या उससे अधिक का तय है। पिछले तीन महीनों में 2000 से ज्यादा रजिस्ट्रेशन फॉर्म्स की समीक्षा और सत्यापन के बाद यह खुलासा हुआ कि पैसे देकर बाहरी खिलाड़ी पुदुचेरी की टीमों में खेल रहे हैं।
सबसे चौंकाने वाला मामला मोतीनगर का है, जहाँ एक ही पते पर अलग-अलग टीमों के 17 खिलाड़ी पंजीकृत पाए गए। पता चला कि वहां महीनों पहले किरायेदारों को निकाल दिया गया था, लेकिन दस्तावेजों में वही पता दिखाकर खिलाड़ियों को मैदान में उतारा जा रहा है।
इस फर्जीवाड़े का सीधा नुकसान पुदुचेरी के असली खिलाड़ियों को हो रहा है। पिछले चार सालों में पुदुचेरी ने 29 रणजी मुकाबले खेले, लेकिन केवल 4 स्थानीय खिलाड़ियों को मौका मिला। इस सीजन में वीनू मांकड़ ट्रॉफी के ओपनिंग मैच में 11 में से 9 खिलाड़ी दूसरे राज्यों के थे, जिन्हें केवल कागज़ों पर स्थानीय बताकर मैदान में उतारा गया।
यह मामला पुदुचेरी क्रिकेट की विश्वसनीयता पर सवाल खड़ा करता है और BCCI के निगरानी तंत्र की चूक को उजागर करता है।



