साइबर ठगी रैकेट का खुलासा: मुंबई में छिपे 8 आरोपी छत्तीसगढ़ पुलिस के हत्थे चढ़े

राजनांदगांव। छत्तीसगढ़ पुलिस ने खैरागढ़ जिले में एक बड़े साइबर फ्रॉड गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए 8 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। यह गैंग मुंबई के डोंबिवली और कल्याण इलाकों से देशभर में ऑनलाइन ठगी की वारदातों को अंजाम दे रहा था। पुलिस ने साइबर सेल की मदद से इस संगठित गिरोह का नेटवर्क उजागर किया, जो फर्जी ऑनलाइन शॉपिंग साइट और बेटिंग ऐप के जरिए लोगों को ठगने का काम कर रहा था।
जानकारी के अनुसार, यह कार्रवाई एक छात्रा की शिकायत के बाद शुरू हुई थी। खैरागढ़ संगीत विश्वविद्यालय की छात्रा वसुधा सिन्हा ने 22 अगस्त 2025 को पुलिस को बताया कि उसने इंस्टाग्राम पर चिकनकारी साड़ी ऑर्डर करने के दौरान ₹64,100 की ठगी का सामना किया। पुलिस ने साइबर सेल के साथ मिलकर मोबाइल नंबरों, बैंक खातों और सोशल मीडिया डाटा का विश्लेषण किया। जांच में सामने आया कि ठगी का नेटवर्क महाराष्ट्र के डोंबिवली क्षेत्र से संचालित हो रहा है।
खैरागढ़ पुलिस ने मुंबई में छापा मारकर गिरोह के सरगना समेत गौतम पंजाबी, पवन सुरूसे, विनायक मोरे, अमित मोरे, रामचंद्र चौके, अमोल दिवनाने, अभिषेक डंबडे और मनोज मुखिया को गिरफ्तार किया। कार्रवाई के दौरान पुलिस ने 5 लैपटॉप, 14 मोबाइल फोन, 51 बैंक पासबुक, 51 एटीएम कार्ड, 15 चेकबुक और 25 सिम कार्ड जब्त किए हैं। सभी आरोपियों को ट्रांजिट रिमांड पर खैरागढ़ लाया गया है।
पुलिस के अनुसार, यह गैंग न केवल ऑनलाइन खरीदारी में लोगों को ठग रहा था, बल्कि “100 Book” नामक एक गेमिंग और बेटिंग ऐप के जरिये भी करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी कर चुका था। फिलहाल, सभी आरोपियों पर संगठित अपराध और जुआ अधिनियम (Gambling Act) के तहत कार्रवाई की जा रही है।
खैरागढ़ पुलिस का कहना है कि यह अब तक की सबसे बड़ी साइबर कार्रवाई में से एक है, जो राज्य में साइबर अपराधियों पर कड़ी लगाम लगाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम साबित होगी। पुलिस ने आम नागरिकों से अपील की है कि वे ऑनलाइन खरीदारी या गेमिंग ऐप्स का उपयोग करते समय सावधानी बरतें और संदिग्ध लिंक या ऑफ़र से दूरी बनाए रखें।



